हरियाली तीज हर साल की तरह इस बार भी धूमधाम से मनाई जा रही है।

हरियाली तीज हर साल की तरह इस बार भी धूमधाम से मनाई जा रही है।

कोरोना काल के बाद धूमधाम: पिछले कुछ सालों में कोरोना महामारी के कारण त्यौहार मनाने में कुछ पाबंदियां थीं। लेकिन इस बार लोग बिना किसी पाबंदी के तीज का त्यौहार मना रहे हैं।

सोशल मीडिया का असर: सोशल मीडिया पर तीज के गीत, नृत्य और तस्वीरें वायरल हो रही हैं। लोग एक-दूसरे को तीज की शुभकामनाएं दे रहे हैं।

मेहंदी का चलन: तीज का अहम हिस्सा मेहंदी लगाना है। इस बार अलग-अलग डिजाइन की मेहंदी लगाने का चलन है।

झूले का आनंद: ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएं झूला झूलकर तीज का आनंद ले रही हैं।

. व्यंजनों की भरमार: तीज के मौके पर खास तरह के व्यंजन बनाए जाते हैं।

धार्मिक अनुष्ठान: महिलाएं देवी पार्वती की पूजा कर रही हैं और व्रत रख रही हैं।

सांस्कृतिक कार्यक्रम: तीज के अवसर पर कई स्थानों पर सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं।

पर्यटन में वृद्धि: तीज के अवसर पर पर्यटन स्थलों पर भीड़ बढ़ रही है।

युवाओं में उत्साह: युवा भी तीज के त्योहार में उत्साह से भाग ले रहे हैं। हरियाली तीज 2024 हरियाली तीज 7 अगस्त, 2024 को है।

शिव-पार्वती का मिलन: तीज का त्योहार भगवान शिव और देवी पार्वती के मिलन का प्रतीक है।

शिव-पार्वती का मिलन: तीज का त्योहार भगवान शिव और देवी पार्वती के मिलन का प्रतीक है।

सुहागिनों का त्योहार: विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और खुशहाली के लिए व्रत रखती हैं।

महिलाओं का त्यौहार: यह विशेष रूप से महिलाओं के लिए है, वे नए कपड़े पहनती हैं, मेहंदी लगाती हैं।

हम तीज का त्योहार क्यों मनाते हैं?